दर्द का दर्पण बतला दे,
साज -सरगम समझा दे ,
बदलते हुई राहों में,
कोई मुझे इश्क करना सिखला दे|
साज -सरगम समझा दे ,
बदलते हुई राहों में,
कोई मुझे इश्क करना सिखला दे|
किसी की यादों में खोना,
जाग कर भी सपनो में होना,
हर और अक्स एक ही का पाना ,
मंजिल को भुल, राह एक ही जाना ,
मुझे उन राहों पर खोना सिखला दे,
कोई मुझे इश्क करना सिखला दे|
जुल्फों के अम्बर के नीचे,
नैन धरा दिल की सींचे,
आँखों की गहराई में किसी की,
डूब कर जीना सीखे,
मुश्कुराहत पर किसी की,
सारी खुशियाँ लुटाना सिखला दे,
कोई मुझे इश्क करना सिखला दे|
कोई मुझे इश्क करना सिखला दे|
बोल ख़ामोशी के,भाषा बिन बोलो की,
भाव दिलों के,धुन प्रेम भावों की,
अश्क ख़ुशी के,गाथा खामोश आसूंओ की,
बिन जुबां के हमको भी दिल का हाल
सुनाना सिखला दे,
कोई मुझे इश्क करना सिखला दे|
किसी की ख़ुशी पर
खुद को न्योछावर करना,
उन पर ख़ुशी की एक बूँद
की खातिर गमों का सागर पीना,
सुख खोकर भी सारे
खुश होना सिखला दे,
कोई मुझे इश्क करना सिखला दे|
बोल ख़ामोशी के,भाषा बिन बोलो की,
ReplyDeleteभाव दिलों के,धुन प्रेम भावों की,
अश्क ख़ुशी के,गाथा खामोश आसूंओ की,
बिन जुबां के हमको भी दिल का हाल
सुनाना सिखला दे,
वाह!
किसी की ख़ुशी पर
ReplyDeleteखुद को न्योछावर करना,
उन पर ख़ुशी की एक बूँद
की खातिर गमों का सागर पीना,
सुख खोकर भी सारे
खुश होना सिखला दे,
कोई हमे इश्क करना सिखला दे|
क्या बात है ।
yeh to dil ki awaaz shabdon mein likh di hai rajpal ji ....waah waah !!
ReplyDeleteshbdo ka bhandar nahi jisse teri taareef karoon,
ReplyDeleteAwesome yaar